07 जनवरी के संयुक्त कनवेंसन तय करेगा कोल प्रबंधन की दिशा और दशा:रामधारी



धनबाद:पूर्व घोषित कार्यक्रम के तहत शुक्रवार को बी.सी.सी.एल. में चारो केन्द्रीय श्रम संगठनों संयुक्त मोर्चा बी.एम.एस., एच.एम.एस., एटक, सीटु द्वारा बी.सी.सी.एल. के समस्त इकाईयों में राष्ट्रीय कोयला वेतन समझौता-11 में हो रहे विलम्ब को लेकर विरोध प्रदर्शन, गेटपीट मिटींग, नारेबाजी, काला विल्ला लगाकार किया गया। उक्त जानकारी ध.को.क.संघ के महामंत्री रामधारी ने बताया। रामधारी ने कहा कि कोल प्रबंधन द्वारा राष्ट्रीय कोयला वेतन समझौता-11 में गैर जिम्मेदाराना एवं टालमटोल की मंशा देखते हुए जे.बी.सी.सी.आई. में शामिल चारों केंद्रीय संगठन बीएमएस, एचएमएस, एआईटीयूसी, सीटू द्वारा बैठक कर सर्वसम्मति से दिनांक 9 दिसंबर 2022 को बीसीसीएल के सभी ईकाईयों में विरोध प्रदर्शन करने का निर्णय लिया था जिसके तहत आज बी.सी.सी.एल.के हजारो-हजार के तादात में स्थायी एवं ठेका श्रमिकों ने अपनी चटटानी एकता का परिचय देते हुये विरोध प्रदर्शन को सफल बनाया।
उन्होनेें कहा कि इसके बाबजुद भी कोल प्रबंधन की निन्द नहीं खुली तो आन्दोलन की अगली कडी़ में दिनांक 07 जनवरी 2022 को रॉची में संयुक्त मोर्चा का कनवेंषन में, कोल इंडिया प्रबंधन की दिशा और दशा तय कि जाएगी क्योंकि कोयला श्रमिक कोरोना काल में मुश्किल व सकंट की घड़ी में देश की ऊर्जा कोयले की मजदूरों द्बारा आपूर्ति कर देश को रोशनी देने का काम किया है उसके बावजूद कोयला मजदूरों के वेतन बढ़ोतरी में कोल इंडिया प्रबंधन द्बारा आना कनी की जा रही है तो कोल इंडिया प्रबंधन इस विषय पर जल्द से जल्द सार्थक पहल नहीं करता, तो आगे की रणनीति तय कर उग्र आंदोलन की रुप रेखा तैयार की जाएगी।

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