Dhanbad:वीर कुँवर सिंह के जीवन से युवाओं को प्रेरणा लेने की जरूरत : उदय प्रताप सिंह

धूमधाम से मनी वीर कुँवर सिंह की जयंती वीर कुँवर सिंह का बलिदान कभी भुलाया नही जा सकता: दिलीप सिंह

रूपनारायनपुर/धनबाद। अखिल भारतीय क्षत्रिय समाज शाखा-चित्तरंजन ,मिहिजाम,रूपनारायनपुर के द्वारा 1857 की क्रांति के महानायक वीर कुँवर सिंह की जयंती धूमधाम से मनायी गयी। रूपनारायनपुर ,स्टेशन रोड में स्थित नान्दनिक हॉल में समारोह का आयोजन हुआ।

समारोह में आसनसोल के विधायक एवं मेयर के अलावे धनबाद से उदय प्रताप सिंह ,दिलीप सिंह ,सुदेश सिंह, भावेश सिंह ,दीपक सिंह ,अमरेश सिंह ,राजेश सिंह ,संजय सिंह ,गुड्डू सिंह ,तेज प्रताप सिंह ,भोला सिंह समेत जामताड़ा ,मिहिजाम ,बराकर ,आसनसोल ,रूपनारायनपुर ,मैथन ,निरसा ,चिरकुंडा से समाज के लोग शामिल हुए।

इस अवसर पर वीर कुंवर सिंह के चित्र पर माल्यार्पण किया गया व विजयोत्सव के रूप में जयंती मनायी गयी।

कार्यक्रम को संबोधित करते हुए वक्ताओं ने कहा कि कुंवर सिंह के कठिन त्याग और देश प्रेम को कभी नहीं भुलाया जा सकता। उनका बलिदान देश को आजाद कराने में हुआ। 80 साल की उम्र में उन्होंने जिस अंदाज से अंग्रेजों के छक्के छुड़ाये वह अपने आप में उनकी वीरता को प्रदर्शित करता है।

उदय प्रताप सिंह ने अपने संबोधन में कहा कि बाबू वीर कुंवर सिँह भारत के प्रथम विद्रोह सन 1857 के महानायक थे, जिन्होंने अपने प्राण तक न्योछावर कर दिए पर अंग्रेजो के सामने घुटना नहीं टेका। आज के युवाओं को उनके जीवन से प्रेरणा लेने की जरूरत है।

दिलीप सिंह ने कहा कि अंग्रेजों से लोहा लेने में वीर कुंवर सिंह ने अपने शौर्य एवं पराक्रम का परिचय दिया था। वृद्धावस्था में उन्होंने जिस अंदाज से अंग्रेजों के खिलाफ लड़ाई लड़ी वह उनकी वीरता का परिचायक है।

Related posts