Posted by Dilip pandey
धनबाद: ललिता चौहान यह एक सिर्फ एक महिला का नाम ही नहीं बल्कि समाज में अपने लगातार निस्वार्थ सेवाकार्यों में जूट कर मानवता का एक अलग पहचान भी बना रखी है। ललिता चौहान एक संस्था मुस्कान एक प्रयास की संस्थापक है। इस संस्था का नेतृत्व करके समस्त धनबाद जिले में लोगों को ब्लड डोनेशन और मुश्किल एवं आपात की स्थिति में विभिन्न सहायता-सेवा लोगों तक पहुंचा रही है। कोरोना काल में इनके नेतृत्व में को लोगों को विभिन्न सहायता पहुंचाने का कार्यों एवं प्रयासों को लोगों ने बहुत सराहा था। ललिता निरंतर गरीब-जरूरतमंदों की सेवा के लिए लोगों के बीच जागरूकता फैलाकर जरूरतमंदों की सहायता कर रही है। सेवा और मदद की इसी कड़ी में इन दिनों गरीबी की मार झेल रही बबीता उपाध्याय जिसकी हालत काफी चिंताजनक है।वह बिस्तर से उठ नहीं पा रही हैं। और उसके पास बेहतर चिकित्सा के लिए कोई भी राशि उपलब्ध नहीं है। सबसे हैरान वाली बात है कि इस गरीब महिला के पास ना तो आयुष्मान कार्ड था, न मजदूर कार्ड है,और ना राशन कार्ड था। यह इस असहाय महिला के लिए बहुत ही परेशानी की बात थी। अगर यह सुविधा उसके पास रहती तो आज वह इलाज करा सकती थी। इसी बीच ललिता चौहान को इसकी जानकारी मिलने पर ललिता ने इस महिला को सहायता करने का बीड़ा उठाई और उक्त महिला का राशन कार्ड बनाई और उसका आयुष्मान कार्ड भी बनाने का प्रयास कर रही है। फिलहाल उस गरीब महिला को बलियापुर रोड स्थित जेपी हॉस्पिटल रिसर्च सेंटर में इलाज करवा कर उसे अस्पताल से छुट्टी कराया है। ललिता चौहान बताई की उन्होंने डॉक्टर से कहा है कि इस महिला का इलाज अच्छी तरह करें। मैं अपनी संस्था की महिलाओं और अन्य लोगों से सहायता लेकर इसका संपूर्ण इलाज कराऊंगी। वर्तमान में ललिता चौहान गंभीर बीमारी से पीड़ित बबीता को स्वयं स्नान कराती है,भोजन कराती है। हर जरूरत का ख्याल रखती है इस गरीब महिला की सहायता के लिए ललिता चौहान एक देवी का रूप लेकर आई है। जो समाज के लिए एक प्रेरणादाई कार्य है। पुरुष की ही सिर्फ समाज सेवा में आगे रहने की मिथक को अपने उल्लेखनीय सेवा कार्यों से ललिता ने तोड़ा है।परेशानियों-व्यस्तताओं के बावजूद जरूरतमंदों की सेवा करना ललिता का जुनून है।
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