धनबाद का सुप्रसिद्ध अस्पताल जालान फिर से आज अपनी लापरवाही की वजह से सुर्खियों में आया। सोमवार को भर्ती मरीज की मौत के बाद परिजनों ने जमकर हंगामा किया। परिजनों के आक्रोश को देखते हुए पुलिस बुलानी पड़ी। पुलिस अस्प्ताल पहुँचकर कर परिजनों को शांत कराया। बाघमारा डुमरा के रहने वाले निजी चालक 40 वर्षीय शंकर महतो के सीने में तखलिफ़ होने पर परिजनों ने पिछले 10 तारीख को जालान में भर्ती कराया था। परिजन का कहना है कि तरह – तरह के जांच और इलाज के नाम पर 1 लाख 22 हजार रु जमा भी लिया गया। परिजनों को मरीज से मिलने नही दिया जा रहा था। परिजनों का आरोप है लगातार आज सातवें दिन के बाद भी इलाज का बहाना बनाकर मरीज से मिलने नहीं दिया जा रहा था। अस्प्ताल प्रबन्धन के रवैये से यह पूरी तरह से सत्य है की मरीज की मौत पूर्व में ही हो चुकी थी शव को फ्रीजर में रख कर जांच के नाम पर परिजनों से पैसे की मांग की जा रही थी। मरीज को रेफर करने का भी परिजन लगातार दबाव बना रहे थे पर अस्प्ताल प्रबन्धन इसपर भी राजी नही था। सोमवार को बाघमारा विधायक के पहल पर मरीज को रांची रिम्स अस्प्ताल रेफर किये जाने के आदेश पर अस्पताल प्रबंधन रेफर की परिक्रिया शुरू की और दोपहर 2 से ढाई बजे के करीब परिजनों को मरीज की मृत्यु की खबर अस्प्ताल प्रबन्धन द्वारा दी गई। परिजनों का हंगामा इसी बात को लेकर था। परिजनों का यह भी आरोप है कि शव देने में भी अस्प्ताल प्रबन्धन आनाकानी कर रही है तथा शेष राशि 60 हजार रु जमा करने का दबाव बनाया गया। इस मामले में अस्प्ताल प्रबंधन कुछ भी बोलने से बच रही है।
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