गया नेशनल ह्यूमन राइट्स एंड पब्लिक वेलफेयर ट्रस्ट कार्यालय में शहीद भगत सिंह के जयंती पर मानवाधिकार कार्यकर्ताओं ने उनके तैलचित्र पर किया पुष्पांजलि। मुख्य सचिव गणेश सिंह ने कहा देश की आजादी के लिए महज 23 साल की उम्र में चढ़ गए थे फांसी। जलियावाला बाग से बदला उनका मन, कहा जाता है कि भगत सिह को देश भक्ति विरासत मे मिली थी, क्योंकि उनके दादा अर्जुन सिंह, उनके पिता किशन सिंह और चाचा अजीत सिंह गदर पार्टी के अभिन्न हिस्से थे। जब 13 अप्रैल 1919 को जलियावाला बाग में नरसंहार हुआ, तो इसे देखकर भगत सिंह काफी व्यथित हुए थे और इसी के कारण अपना कॉलेज छोड़ वो आजादी की लड़ाई में कूद पड़े थे। शहीद भगत सिंह जी की याद में मानवाधिकार कार्यकर्ताओं ने दो मिनट का मौन भी रखा, इंकलाब जिंदाबाद के नारे लगाते हुए उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की है। इस मौके पर दीपक सिन्हा, बॉबी राज, अमित कुमार, निहाल कुमार बिट्टू, विराट गौरव, कुमारी सुमन, काजल कुमारी, संजय गुप्ता, रौशन वर्मा, मो० सद्दाम हुसैन, नीतीश कुमार, वैभव सोनी, सविता देवी, लक्ष्मण केसरी, सतीश कुमार, मनीष बरनवाल, गुड़िया देवी, मिंकी कुमारी, मोहित रंजन एवं अन्य शामिल थे
सोनो(जमुई):- जमीन विवाद में मारपीट तिलवरिया में महिला सहित पांच घायल
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